दलित साहित्य/विमर्श >> डॉ अम्बेडकर : वैचारिकी एवं दलित विमर्श डॉ अम्बेडकर : वैचारिकी एवं दलित विमर्शडॉ. कालीचरण स्नेही
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डॉ. अम्बेडकर : वैचारिकी एवं दलित विमर्श
समर्पण
'नालन्दा' विश्वविद्यालय के उस खण्डहर बन चुके प्राचीन परिसर को, जहाँ से लगभग 600 वर्षों तक दुनिया भर में 'बौद्ध-धम्म' का प्रचार-प्रसार हुआ।
साथ ही वहाँ के निर्माणाधीन - ‘नवीन परिसर' को भी, जहाँ से दुनिया भर को पुनः भारत के गौरवशाली अतीत एवं ज्ञान-विज्ञान की उच्च शिक्षा प्रदान की जाएगी।
अमेरिका के लब्ध प्रतिष्ठित - 'कोलंबिया विश्वविद्यालय' के उस परिसर और परिवेश को भी, जहाँ से हमारे आराध्य, मानवता के प्रबल पक्षधर, भारतीय संविधान निर्माता-भारत रत्न बाबा साहब डॉ. भीमराव रामजी अम्बेडकर ने उच्च शिक्षा प्राप्त की थी।
भारत के ख्याति प्राप्त - ‘लखनऊ विश्वविद्यालय' के उस परिसर को भी, जहाँ पर मेरे व्यक्तित्व और कृतित्व को विकास के बहुआयामी अवसर उपलब्ध हो रहे हैं।
- प्रोफेसर कालीचरण 'स्नेही'
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