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दाराशुकोह
दाराशुकोह
प्रकाशक :
भारतीय ज्ञानपीठ |
प्रकाशित वर्ष : 2023 |
पृष्ठ :868
मुखपृष्ठ :
पेपरबैक
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पुस्तक क्रमांक : 16683
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आईएसबीएन :9788196102760 |
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दाराशुकोह एक ऐसा शहज़ादा जिसको पंडितराज जगन्नाथ जैसे विद्वान से संस्कृत का ज्ञान प्राप्त हुआ, फ़ारसी के विद्वान मुल्ला अब्दुल लतीफ़ सुलतानपुरी से कुरआन एवं फ़ारसी काव्य-ग्रन्थों के साथ-साथ इतिहास की शिक्षा मिली तथा सूफ़ी सन्त सरमद मुल्लाशाह बदख्शी, शेख मुहीबुल्ला इलाहाबादी, शाह दिलरुबा और शेख मुहसिन फानी जिनके आध्यात्मिक और दार्शनिक मार्गदर्शक रहे ऐसे युगपुरुष के जीवन का अबतक बहुत कुछ अनछुआ ही रहा। इस कमी को उपन्यासकार मेवाराम ने इस वृहद् उपन्यास में समकालीन सन्दर्भों में उद्घाटित किया है।
दाराशुकोह अपनों के ही छद्म का शिकार हुआ और दुखद अवसान के बावजूद धर्मों की मूल्यबोधी दृष्टि से सदैव सम्पन्न रहा। हालांकि इस दृष्टि को समय का धुआँ आच्छादित करता रहा लेकिन उपन्यासकार ने इस धुन्ध को छाँटने का निरन्तर प्रयत्न किया है और हमें शहज़ादा दाराशुकोह का साफ दिखाई देने लगता है।
प्रस्तुत उपन्यास दाराशुकोह एक तरफ ऐतिहासिक उपन्यासों में अपेक्षित अध्ययन एवं शोध की कठिन कसौटी पर पूरी तरह खरा उतरा है तो दूसरी तरफ इसकी मौलिकता का सबसे बड़ा प्रमाण इसकी सम्बद्धता और रोचक शैली है।
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