चिन्मय मिशन साहित्य >> ज्ञानसार ज्ञानसारस्वामी तेजोमयानन्द
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प्रस्तुत है ज्ञानसार...
इस पुस्तक में केवल अठारह श्वोक है इन श्लोकों में यह बताया का प्रयत्न किया गया है कि प्रारम्भिक अवस्था से साधक की अवस्था पहुँचते तक हम किन-किन अवस्थाओं को पार करते हैं और अन्तिम लक्ष्यतक पहुँच जाने पर कैसी कृतकृत्यता प्राप्त होती है।
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