व्यवहारिक मार्गदर्शिका >> हाउ टू डेवलप दा पर्सनैलिटी हाउ टू डेवलप दा पर्सनैलिटीमधुप शुक्ला
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प्रस्तुत हैं पुस्तक के कुछ अंश
शिक्षाप्रद लेख संग्रह Life & its Development एक पूर्णज्ञान एवं विचारों का संगम है जिसमें स्नानकर हम न सिर्फ अपने वरन् दूसरों के आत्मशुद्धि एवं आत्मशोध कराते हुए संपूर्ण समाज तथा व्यक्ति के व्यक्तिगत जीवन को निखारने का प्रयास कर सकते हैं। विचारों की शून्यता प्रायः मूढ़ता का प्रतीक होती है।
अतः सद्विचार, सद्कर्म एवं सद्आचरण के माध्यम से ही हम अपने जन्म को सफल एवं अनुसरणीय व अनुकरणीय बना सकते हैं। इसके दिशा-निर्देशन में हमें नैतिक कर्तव्य एवं ज्ञान का सुगम मार्ग प्रशस्त हो सकता है। इसमें व्यक्ति के प्रत्येक भाव, विभाव तथा मानसिक परिकल्पना पर सविस्तार चर्चा की गई है। यह लेख संग्रह द्विभाषी है अतः इसमें अंग्रेजी एवं हिन्दी दोनों भाषाओं का भी सम्मिश्रण है।
आशातीत हूँ कि यह द्विभाषी ज्ञान एवं विचार सरिता व्यक्ति एवं समाज को परिष्कृत करने में अवश्य सफल होगी।
अतः निवेदित कर आपसे अपेक्षित हैं उस स्नेहाशीष एवं शुभाशीष के लिये जो इनके प्रयास को कृतार्थ कर सके।
अतः सद्विचार, सद्कर्म एवं सद्आचरण के माध्यम से ही हम अपने जन्म को सफल एवं अनुसरणीय व अनुकरणीय बना सकते हैं। इसके दिशा-निर्देशन में हमें नैतिक कर्तव्य एवं ज्ञान का सुगम मार्ग प्रशस्त हो सकता है। इसमें व्यक्ति के प्रत्येक भाव, विभाव तथा मानसिक परिकल्पना पर सविस्तार चर्चा की गई है। यह लेख संग्रह द्विभाषी है अतः इसमें अंग्रेजी एवं हिन्दी दोनों भाषाओं का भी सम्मिश्रण है।
आशातीत हूँ कि यह द्विभाषी ज्ञान एवं विचार सरिता व्यक्ति एवं समाज को परिष्कृत करने में अवश्य सफल होगी।
अतः निवेदित कर आपसे अपेक्षित हैं उस स्नेहाशीष एवं शुभाशीष के लिये जो इनके प्रयास को कृतार्थ कर सके।
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