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व्यवहारिक मार्गदर्शिका >> संत ज्ञानेश्वर

संत ज्ञानेश्वर

सरश्री

प्रकाशक : मंजुल पब्लिशिंग हाउस प्रकाशित वर्ष : 2015
पृष्ठ :192
मुखपृष्ठ : पेपरबैक
पुस्तक क्रमांक : 9567
आईएसबीएन :9788183225977

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प्रस्तुत हैं पुस्तक के कुछ अंश

‘क्या आप ज़िंदा मेंढक खा सकते हैं’ या ‘शेर के मुँह में हाथ डालने की डेयरिंग (साहस) कर सकते हैं ?’ आपका जवाब क्या है ? ऐसा करना मुश्किल है। यदि आपसे कहा जाये की ‘क्या आप नारियल के पेड़ पर चढ़ सकते हैं?’ तो कुछ लोग ऐसा करने की हिम्मत कर सकते हैं। अब ज़रा ईमानदारी से मनन करके बताएँ कि क्या आप सदा ख़ुश रहने की डेयरिंग कर सकते हैं ? ज़रा सोच-समझकर जवाब दें क्योंकि यह कोई मामूली डेयरिंग नहीं है। हर हाल में सदा ख़ुश रहना सबसे बड़ी डेयरिंग (साहस) है।

ज़रा सोचें, इससे बड़ी बात क्या हो सकती है और वह किसने की होगी ? जवाब है - सबसे बड़ा साहस संत ज्ञानेश्वर ने किया था, उन्होंने जीवित समाधि ली थी, जिसे संजीवनी समाधि कहा गया। वे पूरी जाग्रति के साथ ध्यान में बैठे और फिर उनका शरीर वापस नहीं उठा। वह ध्यान अखण्ड ध्यान बन गया, समाधि बन गया।

समाधि और महान कीर्ति का रहस्य जानने के लिए आइए, प्रवेश करें संत ज्ञानेश्वर की जीवनी में। संत ज्ञानेश्वर के साथ जीवन के मुख्य सवालों के जवाब खोजने का कार्य आरम्भ करें।

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