शब्द का अर्थ
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अमर्ष :
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पुं० [सं० √मृष्(सहना)+घञ्, न० त०] [वि० अमर्षित, अमर्षी] १. किसी को दबा न सकने के कारण मन में होने वाला रोष। (रिजेन्टमेंट) २. क्रोध। गुस्सा। ३. असहिष्णुता। ४. साहित्य में, वह क्रोध जो किसी अभिमानी का अभिमान देखकर उत्पन्न होता तथा कुद्ध व्यक्ति का अभिमान नष्ट करने में प्रवृत्त करता है। (इसकी गिनती संचारी भावों से होती है) |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
अमर्षण :
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पुं० [सं० √मृष्+ल्युट्-अन, न० त०] १. क्रोध। गुस्सा। २. असहिष्णुता। ३. असहनशीलता। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
अमर्षी (षिन्) :
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वि० [सं० √मृष्+णिनि, न० त०] [स्त्री० अमर्षिणी] १. मन में अमर्ष रखनेवाला। क्रोधी। २. जो सहनशील न हो। असहनशील। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |