शब्द का अर्थ
|
अरे :
|
अव्य० [सं०√ऋ (गति)+ए] [स्त्री० अरी] १. संबोधन का शब्द। ए ! ओ ! २. आश्चर्यसूचक अव्यय। |
|
समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
अरेणु :
|
वि० [सं० न० ब०] १. जिसमें धूलि न हो। २. जिसे धूलि न लगी हो। स्त्री० [न० त०] धूलि का अभाव। |
|
समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
अरेरना :
|
स० [सं० ऋ-जाना] रगड़ना।(यह शब्द केवल पद्य में प्रयुक्त हुआ है) |
|
समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
अरेहना :
|
स० [हिं० रेहना] १. रगड़ना। २. दे० ‘रेहना’।(यह शब्द केवल पद्य में प्रयुक्त हुआ है) |
|
समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |