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कहानी संग्रह >> तुम कहो तो

तुम कहो तो

सीतेश आलोक

प्रकाशक : भारतीय ज्ञानपीठ प्रकाशित वर्ष : 2003
पृष्ठ :158
मुखपृष्ठ : सजिल्द
पुस्तक क्रमांक : 1382
आईएसबीएन :81-263-0899-0

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ये कहानियाँ न तो किसी साँचे में ढलकर निकलती हैं और न किसी वाद अथवा पूर्वाग्रह के रंग में रँगकर आती हैं। मनो को छूनेवाली कोई भी घटना,कोई भी परिस्थिति,अवसर पाकर किसी स्मरणीय रचना का रूप ले लेती है।

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