आलोचना
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मध्यकालीन बोध का स्वरूपहजारी प्रसाद द्विवेदी
मूल्य: Rs. 495
प्रस्तुत पुस्तक में आचार्य द्विवेदी के पाँच व्याख्यान संकलित हैं, जो उन्होंने टैगोर प्रोफेसर के नाते पंजाब विश्वविद्यालय में दिए थे। आगे... |
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कुछ पूर्वग्रहअशोक वाजपेयी
मूल्य: Rs. 295 पिछले वर्षो में हिंदी आलोचना में जो नाम छाए रहे हैं उनमे एक नाम निश्चय ही अशोक वाजपेयी का है कविता के लिए उनका पूर्वग्रह अब कुख्यात ही है। आगे... |
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कुछ कहानियाँ: कुछ विचारविश्वनाथ त्रिपाठी
मूल्य: Rs. 300 इतना कहना लेकिन जरूरी लगता है कि कुछ स्वातंत्रयोत्तर हिंदी कहानियों पर लिखी ये समीक्षाएँ पढने के बाद वे कहानियां फिर-फिर पढने को जी करता है। आगे... |
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कविता के नये प्रतिमाननामवर सिंह
मूल्य: Rs. 595
कविता के नए प्रतिमान में समकालीन हिंदी आलोचना के अंतर्गत व्याप्त मूल्यांध वातावरण का विश्लेषण करते हुए उन काव्यमूल्यों को रेखांकित करने का प्रयास किया गया है जो आज की स्थिति के लिए प्रासंगिक हैं। आगे... |
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कविता के आर पारनन्दकिशोर नवल
मूल्य: Rs. 350 इस तरह की पुस्तक हिंदी काव्य-प्रेमियों के लिए एक जरूरी पुस्तक है, जो उनकी आस्वादन क्षमता को विकसित करेगी। आगे... |
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कथाकार कमलेश्वर और हिंदी सिनेमाउज्ज्वल अग्रवाल
मूल्य: Rs. 450 प्रस्तुत शोध-प्रबंध कमलेश्वर के हिन्दी सिनेमा में विराट योगदान को रेखांकित करता है। आगे... |
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कथा समय में तीन हमसफरनिर्मला जैन
मूल्य: Rs. 195
नई कहानी दौर की एक विशिष्ट कथा–त्रयी की रचनात्मकता पर एक मानक कलम से उतरी अनूठी आलोचना कृति। आगे... |
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कार्ल मार्क्स : कला और साहित्य चिंतननामवर सिंह
मूल्य: Rs. 595
प्रस्तुत पुस्तक में संकलित लेखों को पढ़कर पाठक साहित्य और कला से संबंधित इन सभी मुद्दों से परिचित हो सकेगा। आगे... |
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कामायनी एक पुनर्विचारगजानन माधव मुक्तिबोध
मूल्य: Rs. 350 कामायनी : एक पुनर्विचार, व्यावहारिक समीक्षा के क्ष्रेत्र में एक सर्वथा नवीन विवेचन-विश्लेषण-पद्धति का प्रतिमान है। आगे... |
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कल्पलताहजारी प्रसाद द्विवेदी
मूल्य: Rs. 175
निश्चय ही द्विवेदी जी की यह कृति शास्त्र को लोक से जोड़नेवाली उनकी विदग्ध रचनात्मकता का अप्रतिम साक्ष्य है। आगे... |
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जो बचा रहानन्द चतुर्वेदी
मूल्य: Rs. 400 प्रस्तुत पुस्तक संस्मरण और आलोचना के मिश्रण से बने लेखों का संग्रह है। आगे... |
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जीने का उदात्त आशयपंकज चतुर्वेदी
मूल्य: Rs. 600 लेखक ने इस पुस्तक के पहले निबंध में कुअंर नारायण के विचारों और उनकी समग्र काव्य-यात्रा से चुनी हुई कविताओं के विश्लेषण के जरिए उनकी काव्य-दृष्टि को समझने और उसका एक स्वरुप निर्मित करने की चेष्टा की है। आगे... |
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जब प्रश्नचिन्ह बौखला उठेगजानन माधव मुक्तिबोध
मूल्य: Rs. 195 इस संग्रह में ‘मुक्तिबोध रचनावली’ के प्रकाशन के बाद प्राप्त उनके राजनीतिक निबन्धों को संकलित किया गया है। आगे... |
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हिंदी वेब साहित्यसुनील कुमार लवटे
मूल्य: Rs. 600 हिंदी भाषा और साहित्य की विभिन्न वेबसाइट्स पर प्रकाशित साहित्य का यह पहला व्यवस्थित अनुसंधान है । आगे... |
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हिंदी उपन्यास का इतिहासगोपाल राय
मूल्य: Rs. 950
कोशिश यह की गई है कि यह पुस्तक हिन्दी उपन्यास का मात्र ‘इतिहास’ न बनकर ‘विकासात्मक इतिहास’ बने। आगे... |
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हिंदी उपन्यास: एक अंतर्यात्रारामदरश मिश्र
मूल्य: Rs. 450 लेखक की अन्तर्दृष्टि हिन्दी उपन्यास के संश्लिष्ट व्यक्तित्व और उसकी चेतना-यात्रा को पहचानने में सफल हुई है। आगे... |
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हिंदी की साहित्यिक संस्कृति और भारतीय आधुनिकताराजकुमार
मूल्य: Rs. 400 यह पुस्तक गांधी और मार्क्स का एक नया भाष्य ही नहीं प्रस्तुत करती, बल्कि भारतीय आधुनिकता की विलक्षणताओं को भी रेखांकित करने का उपक्रम करती है। आगे... |
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हिंदी कविता अभी बिल्कुल अभीनन्दकिशोर नवल
मूल्य: Rs. 500 संवेदनशीलता के साथ स्पष्टता और आत्मीयता डॉ– नवल की ऐसी विशेषताएँ हैं, जिन्हें सराहते ही बनता है। आगे... |
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हिंदी कहानी का इतिहास : खंड-3 (1976-2000)गोपाल राय
मूल्य: Rs. 695
हिन्दी कहानी के विकासेतिहास में रुचि रखने वाले पाठकों, शोधार्थियों व लेखकों के लिए समान रूप से महत्त्वपूर्ण कृति। आगे... |
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हिंदी कहानी का इतिहास : खंड-2 (1951-1975)गोपाल राय
मूल्य: Rs. 795
यह किताब हिन्दी कहानी का इतिहास का दूसरा खंड है। पहले खंड में 1900-1950 अवधि की हिन्दी कहानी का इतिहास प्रस्तुत किया गया था। आगे... |
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हिंदी का गद्यपर्वनामवर सिंह
मूल्य: Rs. 695
इस पुस्तक में अलग-अलग अवसरों पर लिखी गई पाँच समीक्षाएँ भी मौजूद हैं। आगे... |
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हिंदी आलोचना में कैनन निर्माण की प्रक्रियामृत्युंजय
मूल्य: Rs. 500 बकौल लेखक, ''मैंने पाया कि हिन्दी आलोचना में कैनन-निर्माण की प्रक्रिया इतिहास की बहसों से गहरे रची-बसी है। आगे... |
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हिंदी आलोचना का विकासनन्दकिशोर नवल
मूल्य: Rs. 795 इस पुस्तक में उन्होंने हिन्दी आलोचना के इतिहास को नहीं, विकास को स्पष्ट किया है। आगे... |
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हिंदी आलोचना का दूसरा पाठनिर्मला जैन
मूल्य: Rs. 400
आज आवश्यकता हिन्दी आलोचना के इतिहास को उसके समुचित परिदृश्य में रखने की ही है। आगे... |
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हिंदी आलोचनाविश्वनाथ त्रिपाठी
मूल्य: Rs. 450 कृति की राह से गुजरना उचित है, लेकिन कृति को देखने की दृष्टि प्राप्त करके। आगे... |
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एक कवि की नोट बुकराजेश जोशी
मूल्य: Rs. 250
यह एक कवि की नोटबुक है। इसलिए उसमें व्यवस्था कम, बहक ज्यादा है। आगे... |
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दिनकर अर्धनारीश्वर कविनन्दकिशोर नवल
मूल्य: Rs. 350 दिनकर आधुनिक हिंदी कविता के उत्तर–छायावादी वा नवस्वच्छंदतावादी दौर के सर्वश्रेष्ठ कवि थे। आगे... |
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कोलाज : अशोक वाजपेयीपुरुषोत्तम अग्रवाल
मूल्य: Rs. 600
अशोक वाजपेयी की कविताओं से गुजरते हुए यह एहसास बहुत शिद्दत से होता है कि हम ऐसे कवि से मुखातिब हैं जिसके यहाँ लौकिक और लोकोत्तर संवादरत हैं आगे... |
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छत्तीसगढ़ में मुक्तिबोधराजेन्द्र मिश्र
मूल्य: Rs. 550 छत्तीसगढ़ मुक्तिबोध की परिपक्व सर्जनात्मकता का अन्तरंग है। आगे... |
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भारतीय साहित्य स्थापनाएं और प्रस्तावनाएंके. सच्चिदानन्दन
मूल्य: Rs. 250
भारतीय साहित्य भारत के जनगण की ही तरह विविधता और एकता के परस्पर सूत्रों से बुनी हुई एक सघन इकाई है आगे... |
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भारतीय काव्यशास्त्र के नये क्षितिजराममूर्ति त्रिपाठी
मूल्य: Rs. 500 परंपरा कोई विच्छिन्न क्रम नहीं है। उसका स्वाभाविक विकास निरंतर होता रहता है। आगे... |
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भारतेंदु हरिश्चंद्र और हिंदी नवजागरण की समस्याएंरामविलास शर्मा
मूल्य: Rs. 695
वास्तव में भारतेन्दु साहित्य सम्बन्धी सभी पक्षों की प्रामाणिक जानकारी के लिए यह अकेली पुस्तक पर्याप्त है। आगे... |
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भारतेंदु युग और हिंदी भाषा की विकास परम्परारामविलास शर्मा
मूल्य: Rs. 995
भारतेंदु युग हिंदी साहित्य का सबसे जीवंत युग रहा है।जिसमें उनकी राष्ट्रीय और जनवादी दृष्टि का उन्मेष है। आगे... |
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अकबर इलाहाबादी पर एक और नज़रशम्सुर्रहमान फ़ारूक़ी
मूल्य: Rs. 200
उर्दू के विख्यात आलोचक, उपन्यासकार, कवि शम्सुर्रहमान फ़ारुक़ी के ये तीन आलेख अकबर इलाहाबादी को एक नये ढंग से देखते हैं आगे... |
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विनोद कुमार शुक्ल: खिड़की के अंदर और बाहरयोगेश तिवारी
मूल्य: Rs. 300 नमें बिलकुल नए तरीके से उपन्यास की अंतर्वस्तु और अभिव्यक्ति का आलोचनात्मक अध्ययन है। आगे... |
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उपन्यासों के रचना प्रसंगकुसुम वार्ष्णेय
मूल्य: Rs. 350 निश्चय ही यह कृति पाठकों को उपयोगी और रोमांचक लगेगी। आगे... |
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उपन्यासों के सरोकारई विजयलक्ष्मी
मूल्य: Rs. 250
इस दौर में स्त्री, दलित और जनजातीय समाज लगातार बहस के केन्द्र में अपनी जगह बना रहे हैं... आगे... |
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उपन्यास का काव्यशास्त्रबच्चन सिंह
मूल्य: Rs. 550
मूलतः पुस्तक में सिद्धान्त बरक्स रचना का विवेचन है। विभिन्न उपन्यासों और कहानियों को यहाँ पर एक दृष्टिकोण से विवेचित किया गया है। प्रबुद्ध पाठक इससे टकरा भी सकते हैं और इसे आगे भी बढ़ा सकते हैं। आगे... |
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तुलसी काव्य मीमांसाउदयभानु सिंह
मूल्य: Rs. 500 निःसन्देह तुलसीदास के अध्येताओं और जिज्ञासु पाठकों के लिए यह ग्रन्थ उपादेय होगा। आगे... |
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तुलसी: आधुनिक वातायन सेरमेश कुंतल मेघ
मूल्य: Rs. 700 तुलसी के हरेक गम्भीर अध्येता- अनुरागी और सभी पुस्तकालयों के लिए सर्वथा अनिवार्य। आगे... |
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तुलसीसं. उदयभानु सिंह
मूल्य: Rs. 500 साहित्य मनीषी पं. हजारी प्रसाद द्विवेदी का मत है कि ''तुलसीदास के काव्य में उनका निरीह भक्त-रूप बहुत स्पष्ट हुआ है, पर वे समाज-सुधारक, लोकनायक, कवि, पंडित और भविष्य-दृष्टा भी थे। आगे... |
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सूरीनाम का सृजनात्मक हिन्दी साहित्यविमलेश कांति वर्मा
मूल्य: Rs. 600 भारत से हजारों मील दूर स्थित एक देश में लिखी ये रचनाएँ प्रवासी भारतीयों की संघर्ष-कथा का साहित्यिक दस्तावेज हैं जिनका ऐतिहासिक और समाजशास्त्रीय महत्त्व है। आगे... |
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सूरदासहरबंस लाल शर्मा
मूल्य: Rs. 550 सूर-साहित्य के जिज्ञासुओं, पाठकों और हिन्दी साहित्य के सभी छात्रों के लिए यह पुस्तक एक महत्त्वपूर्ण विचार-कोश की भूमिका निभाएगी। आगे... |
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समकालीन हिन्दी उपन्यास: समय से साक्षात्कारएलाङ्वम विजयलक्ष्मी
मूल्य: Rs. 350 समकालीन हिन्दी उपन्यास - समय से साक्षात्कार आगे... |
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समकालीन हिन्दी साहित्य: विविध परिदृश्यराम स्वरूप चतुर्वेदी
मूल्य: Rs. 250 समकालीन हिन्दी साहित्य के विविध परिदृश्यों का परिचय आगे... |
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सामाजिक विमर्श के आईने में 'चाक'सं. विजय बहादुर सिंह
मूल्य: Rs. 350 उपन्यास के शुरुआती पृष्ठों पर ही सास और गर्भवती विधवा बहू के बीच यह दृश्य खड़ा कर मैत्रेयी ने पहली बार स्त्री की निगाह से देखने की पहल की है। आगे... |
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पृथ्वीराज रासो : भाषा और साहित्यनामवर सिंह
मूल्य: Rs. 795
इस ग्रंथ में अपभ्रंशोत्तर पुरानी हिंदी के विविध भाषिक रूपों के प्रयोग प्राप्त होते हैं आगे... |
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प्रेमचंद के आयामए अरविंदाक्षन
मूल्य: Rs. 450 प्रेमचन्द की विपुल सम्भावनाओं को दृष्टि में रखकर ही इस ग्रंथ का शीर्षक ‘प्रेमचन्द के आयाम’ रखा गया है आगे... |
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पाश्चात्य साहित्य चिंतननिर्मला जैन
मूल्य: Rs. 695
सभी महत्वपूर्ण विचारकों और प्रवृत्तियों का प्रमाणिक विवेचन इस रचना की विशेषता है आगे... |
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पाश्चात्य काव्य चिंतनकरुणाशंकर उपाध्याय
मूल्य: Rs. 595 पाश्चात्य मनीषा ने काव्य-चिंतन के क्षेत्र में सदैव प्रयोग किए हैं और आगे... |